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ऋषिकेश:मुनी की रेती के शत्रुघन घाट पर देश के जाने माने उद्योगपति भूपेंद्र मोदी को राजश्री की उपाधि साधु संतों की उपस्थिति में दी गई। इस दौरान मां गंगा की विशेष पूजा अर्चना के साथ विशाल हवन भी किया गया। जिसमें देश के विकास और समृद्धि के लिए उपस्थित लोगों ने आहुतियां डाली।
शनिवार को मुनी की रेती के शत्रुघन घाट पर उद्योगपति भूपेंद्र मोदी को राजश्री की उपाधि देने के लिए भव्य कार्यक्रम का आयोजन किया गया। जिसमें शंकराचार्य के प्रतिनिधि स्वामी सदानंद सरस्वती महाराज व अन्य साधु संत मुख्य रूप से उपस्थित हुए। साधु संतों ने जब भूपेंद्र मोदी को राजश्री की उपाधि से नवाजा तो वह भावुक हो गए उन्होंने कहा कि भारत को जो स्थान विश्व में मिलना चाहिए वह अभी नहीं मिला है। भारत अपने आप में विश्व गुरु है। यह रुतबा विश्व में भारत को दिलाने के प्रयास किए जाएंगे। भूपेंद्र मोदी ने कहा कि वह पूरे भारत का भ्रमण कर सनातन धर्म के प्रचार प्रसार और भारत को विश्व गुरु की पहचान दिलाने के लिए काम करेंगे। पूरी दुनिया को प्रेरित करेंगे कि वह हमारे ही परिवार का एक हिस्सा है। भूपेंद्र मोदी ने कहा कि यह उनके लिए गौरव का फल है कि उन्हें आज रात्रि की उपाधि मिली है वह अपने देश की आन बान शान और देश के विकास के लिए हर वह संभव कार्य करेंगे जिसकी इजाजत उन्हें देश का कानून और सरकार देगी।
शंकराचार्य प्रतिनिधि स्वामी सदनंद सरस्वती महाराज ने कहा कि भारत एक ऐसा देश है जिसमें सभी धर्मों के लोग मेलजोल के साथ रहते हैं। अपने अपने धर्मों के नियमों का पालन कर भाईचारे को दर्शाते हैं। जबकि अन्य देशों में ऐसा कर पाना बहुत मुश्किल होता है। उन्होंने देश की एकता और अखंडता को बनाए रखने के लिए सभी धर्मों के लोगों से एकजुट रहने की अपील की।