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ऋषिकेश: ऋषिकेश निवासी आर सी वशिष्ठ द्वारा वर्ष 2016 में पुलिस में रिपोर्ट दर्ज करवाई थी की स्थानीय निवासी बलबीर सिंह,सतेंद्र पोखरियाल और सतेंद्र सिंह द्वारा वशिष्ठ को एक भूमि विक्रय करने के एवज में उनसे 10 लाख रुपए लिए पर भूमि की रजिस्ट्री नहीं की जिस पर पुलिस द्वारा मामला दर्ज कर जांच की तथा उसके बाद मुकदमा अपर मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट , ऋषिकेश के न्यायालय में विचाराधीन रहा ।
अभियुक्तों की ओर से अधिवक्ता शुभम राठी द्वारा कोर्ट पैरवी की गई ।आठ साल पुराने इस मामले में अभियोजन द्वारा कुल चार गवाह पेश किए गए जिनसे अधिवक्ता शुभम राठी द्वारा जिरह की गई व न्यायालय में बहस की गई ।
कोर्ट ने पाया कि मामले में पेश किए गए गवाहो की गवाही में गंभीर विरोधाभास थे तथा कोई भी गवाह बचाव पक्ष के अधिवक्ता के प्रश्नों का संतोषजनक उत्तर नही दे सका । तथा अभियोजन अपना मामला संदेह से परे साबित करने में असफल रहा ।
लंबी कानूनी लड़ाई के बाद माननीय न्यायालय अपर मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट , ऋषिकेश जिला देहरादून द्वारा सभी आरोपियों को साक्ष्य के अभाव में संदेह का लाभ देते हुए बरी कर दिया ।